शुक्रवार को किसान आंदोलन ( Kisan Andolan ) के एक साल पूरे होने पर राकेश टिकैत ( Rakesh Tikait ) ने एक बार फिर जोशीला भाषण देते हुए देश के किसानों और लोगों से अपना हक लेने तक के लिए सावधान रहने की अपील की। उन्होंने कहा कि अभी तो तीन काले कानून वापस हुए हैं। किसान एमएसपी ( MSP ) पर कानून भी लेकर रहेंगे। इसके अलावा केंद्रीय गृह मंत्री अजय मिश्रा टेनी की बर्खास्तगी, किसानों को मुआवजा, शहीद का दर्जा, केसीसी, बिजली बिलों में संशोधन जैसे तमामा मांगों पर भी सरकार को झुकना होगा। अगर ऐसा नहीं हुआ तो किसानों का आंदोलन अभी खत्म नहीं होगा।
27 नवंबर यानि कल संयुक्त किसान मोर्चा ( SKM ) की बैठक है। बैठक में सभी मुद्दों को रखा जाएगा। जिसके बाद किसानों के आंदोलन की आगे रणनीति तय होगी। 29 नवंबर को किसान संसद के सामने ट्रैक्टर मार्च ( Tractor March ) निकालेंगे। 30 से 35 ट्रैक्टरों पर बैठकर 500 किसान संसद की ओर कूच करेंगें। किसान शांत बैठने वाले नहीं हैं। सरकार ने तीनों कृषि कानून वापस ( Farm Laws Repealed ) लेने का ऐलान भले कर दिया हो, लेकिन किसान शुरू से एमएससी पर गारंटी कानून मांग रहे थे, जिसको लेकर सरकार ने अभी तक कोई जवाब नहीं दिया है। किसान नेता राकेश टिकैत ( Rakesh Tikait ) ने कहा कि सरकार को जो खुला पत्र लिखा गया था उसका भी जवाब अभी तक नहीं आया है। यह सभी मुद्दे संयुक्त किसान मोर्चा की बैठक में उठाए जाएंगे और संयुक्त किसान मोर्चा तय करेगा कि किसानों का आंदोलन आगे क्या रूप लेगा।
अब किसान आंदोलन ( Kisan Andolan ) को तीनों कृषि कानून बीमारी थी वो दूर हो गई। पिछले 15 दिनों से इसी चर्चा केंद्रित है। यह सब सरकार का एजेंडा है। शीतकालीन सत्र के दौरान तीनों कृषि कानूनों की वापसी का कानून पास कराएगी। उसके बाद आंदोलन के खिलाफ सरकार प्रायोजित दुश्प्रचार का दौर चलेगा। हमसे एक ही सवाल पूछे जाएंगें। सरकार ने काले कानून वापस ले लिए, आप आंदोलन कब वापस लोगो। आरोल लगाएंगे किसान नेता आंदोलन वापस नहीं ले रहे। कानून वापस हो गए, किसान वापस नहीं जा रहे। यह एक सरकारी साजिश है। इसलिए देश की जनता सावधान रहे।
राकेश टिकैत ने कहा कि 2011 में ततकालीन गुजरात के सीएम और अब पीएम मोदी ने कहा था कि एमएसपी पर गारंटी कानून होना चाहिए। पीएम मोदी कृषि कानूनों के मामले में पीएचडी धारी हैं। अब पीएम मोदी पीछे क्यों हट रहे हैं।
किसान नेता राकेश टिकैत ने कहा कि हम दिल्ली जाएंगे और अगर किसानों को रोकने की कोशिश की गई तो वहीं धरने पर बैठेंगे। टिकैत ने कहा किसानों की आधी जीत हुई है, आधी जीत होना अभी बाकी है। जिसके लिए उनका संघर्ष जारी रहेगा। उन्होंने कहा कि एमएसपी कानून किसानों के लिए बेहद जरूरी है और जब तक यह कानून सरकार लेकर आती नहीं तब तक किसान दिल्ली की सीमाओं पर डटे रहेंगे।